गम ने हसने न दिया, ज़माने ने रोने न दिया!

गम ने हसने न दिया, ज़माने ने रोने न दिया! 
इस उलझन ने चैन से जीने न दिया! 
थक के जब सितारों से पनाह ली! 
नींद आई तो तेरी याद ने सोने न दिया!

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यह ज़रूरी नही हर सक्ष्स मशीहा ही हो,